
- बिज़्नेस राइटिंग स्किल्स ट्यूटोरियल
- होम
- परिचय
- प्रभावी लेखन - शुरुआती इरादा
- पाठकों की अपेक्षाएं
- प्रलेख लेखन
- ड्राफ्टिंग के तीन चरण
- कंटेंट (विषय-वस्तु) को अनुकूल बनाना
- लेखन में याद रखने वाली 15 बातें
- प्रभावी ईमेल लेखन
- व्यावसायिक पत्र लेखन
- मेमो लेखन
- बैठक के कार्यवृत्त (मीटिंग के मिनट्स)
- एजेंडा लेखन
- बिज़्नेस केस लेखन(व्यावसायिक प्रस्ताव लेखन)
- मीडिया रीलीज राइटिंग(मीडिया रीलीज से जुड़े लेखन)
- रेज्यूमे लेखन
- CV लेखन
- रिपोर्ट लेखन
- डेटा विज़ुअलाइज़ेशन
- लेआउट - सामान्य गलतियाँ
- आम अब्रीवीएशन्स (लघु रूप)
- Selected Reading
- UPSC IAS Exams Notes
- Developer's Best Practices
- Questions and Answers
- Effective Resume Writing
- HR Interview Questions
- Computer Glossary
- Who is Who
रिपोर्ट लेखन
बिज़्नेस रिपोर्ट मुख्य रूप से किसी विशिष्ट विषय पर विस्तृत जानकारी का संवाद करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। यह लेटर(पत्र) का बिल्कुल उल्टा होता है जहाँ अपने मैसेज को संक्षिप्त रूप में कहा जाता है।
रिपोर्ट प्रायः रिपोर्टिंग की एक अवधि से दूसरी अवधि तक एक कालक्रमबद्ध तरीके से इसलिये प्रकाशित की जाती है ताकि एक के बाद एक आने वाली इन रिपोर्टों की तुलना की जा सके। रिपोर्ट को प्रकाशित किया जा सकता है या कंपनी के बाहर किसी व्यक्ति को भेजा जा सकता है।
बिज़्नेस रिपोर्ट का फॉर्मैट
आम तौर पर औपचारिक बिज़्नेस रिपोर्ट में निम्न चीजें होती हैं −
टाइटल सेक्शन − इसमें विषय-सूची और शब्दों की परिभाषाएँ होती हैं। लेखकों के नाम और तैयार करने की तारीख के विवरण का उल्लेख वैकल्पिक हो सकता है।
सार − इसमें प्रमुख बिंदुओं, निष्कर्षों और अनुशंसाओं के बारे में सभी संबंधित सूचनाओं का संक्षिप्त विवरण होता है। इसे अंत में लिखना बेहतर रहता है क्योंकि आप आखिरी मिनट में किए गए बदलावों को भी इसमें जोड़ सकते हैं।
परिचय − इस सेक्शन में यह बताया जाता है कि रिपोर्ट क्यों लिखा गया था और ये किस समस्या के बारे में है; आम तौर पर यह रिपोर्ट का पहला पेज होता है।

बॉडी − यह रिपोर्ट का मुख्य भाग होता है। इसमें उद्योग जगत की विशेष शब्दावली का इस्तेमाल किया जाता है। यहाँ सूचनाओं को महत्ता के आधार पर अलग-अलग भागों में डीक्रीजिंग ऑर्डर में लिखा जाता है।
निष्कर्ष − सार के साथ-साथ निष्कर्ष सबसे ज्यादा पढ़ा जाने वाला सेक्शन है। इसलिए इसकी भाषा सरल और विशिष्ट होनी चाहिए।
रिकमेन्डेशन्स − यहाँ जो कार्य किये जाने हैं वो उन्हें प्राथमिकता के आधार पर आरोही क्रम में लिखा जाता है।
अपेन्डिक्स − अपने निष्कर्ष को साबित करने के लिये टेक्निकल डिटेल्स और उद्योग जगत से तथ्यों का विवरण दिया जाता है।
रिपोर्ट लेखन का उदाहरण

विषय-सूची | |
---|---|
परिचय | 1 |
हमारे बिजनेस मॉडल का संक्षिप्त इतिहास | 3 |
पिछले दशक की उपलब्धियाँ | 5 |
पिछले वर्षों की उपलब्धियां | 9 |
सारांश:
परिचय:
ट्यूटोरियल्स पॉइंट की शुरुआत पाठकों की एक ऐसी श्रेणी को खयाल में रखकर की गई थी जो ऑनलाइन कंटेन्ट पर बेहतर तरीके से रिस्पॉन्ड करती है।
हमारे बिजनेस मॉडल का संक्षिप्त इतिहास:
डेढ़ करोड़ पाठक हर महीने साढ़े तीन करोड़ पृष्ठ पढ़ते हैं। हमारे कंटेन्ट और रीसॉर्सेज़ बिना किसी शुल्क के उपलब्ध हैं और हम इसे इसी तरह रखना चाहते हैं।
पिछले दशक की उपलब्धियां
इस सफर की शुरुआत 2006 में HTML पर एकमात्र ट्यूटोरियल से हुई थी और इस पर हमें ऐसी प्रतिक्रिया मिली कि हम इससे इतने उत्साहित हुये कि हम अपने धरोहर में और नये ट्यूटोरियल्स जोड़ने में जुट गये।
बॉडी:
वेबसाइट का कंटेन्ट निहायत हुनरमंद प्रोफेशनल द्वारा तैयार किया जाता है। कंटेन्ट डेवलप करने में कई फ्रीलांसरों ने भी हमारी मदद की है।
निष्कर्ष:
हमारा मिशन तकनीकी और गैर-तकनीकी विषयों की एक विस्तृत श्रृंखला को स्पष्ट और सटीक सामग्री प्रदान कर शिक्षित करना है।
रिकॉमेन्डेशन्स:
कंटेन्ट सुधार करें।
नेटवर्किंग पर जोर देने का प्रयास करें।
परिशिष्ट(अपेन्डिक्स):
सूचना नीतियाँ: पोज़िशन स्टेट्मेन्ट्स, सिद्धांत, विधियों तथा अन्य संबंधित स्टेटमेन्ट्स का संकलन। 'कोलिशन फॉर नेटवर्क्ड इन्फॉर्मेशन'। 24 जून 2013 को पुनःप्राप्त किया गया।